पर्यावरण संतुलन बनाए, जैविक खेती की बेहतर तकनीक अपनाएं!

जैविक कृषि भारतीय कृषि क्षेत्र के विकास के लिये काफी अधिक महत्त्वपूर्ण है। यह फसल उत्पादन की एक ऐसी प्राचीन कृषि विधि है, जो किसानों को मिट्टी की उर्वरता और पर्यावरण को संतुलित बनाए रखने में मदद करती है। किसानों के लिए अपनी फसल स्वास्थ्य काफी महत्त्वपूर्ण है और उनके लिए पर्यावरण संतुलन एवं रसायन विरहीत खेती करने का यह बेहतरीन तरीका है।
जैविक खेती का दायरा बढ़ाने के लिए सरकार लगातार नई योजनाएं लाकर किसानों को प्रोत्साहित कर रही है। इस तकनीक से रुबरू कराने के लिए सरकार राज्यव्यापी प्रशिक्षण के साथ गुणवत्तापूर्ण कृषि निवेश की सुविधा भी किसानों को दे रही है। कृषि मंत्रालय से प्राप्त जानकारी के अनुसार, इस समय देशभर में 27.10 लाख हेक्टेयर जमीन पर जैविक खेती की जा रही है और चलकर ये आंकड़ा बढ़ने की उम्मीद है।

जैविक कृषि में फसलों के उत्पादन में गोबर की खाद (Manure), कम्पोस्ट, जीवाणु खाद, फसलों के अवशेष और प्रकृति में उपलब्ध विभिन्न प्रकार के खनिज पदार्थों के माध्यम से पोषक तत्व दिए जाते हैं। यदि किसान जैविक पद्धति से खेती करना चाहते है, तो सबसे पहले उन्हें निजी या सरकारी लैब से अपने खेती का मिट्टी परिक्षण करवाना चाहिए। इससे कृषक को खेत की मिट्टी से सम्बधित यह प्राप्त जानकारी हो जाती है कि मिट्टी में किस तत्व की कमी है, जिससे किसान उपयुक्त खाद और कीटनाशकों का प्रयोग कर अपने खेत को अधिक उपजाऊ बना सकते है।

जैव‍िक खेती से क‍िसानों को क्या होगा फायदा –

  • भूमि की उर्वरता और उत्पादकता बढ़ेगी।
  • सिंचाई अंतराल में वृद्धि होगी और ऑर्गेन‍िक कार्बन का ह्रास घटेगा।
  • रासायनिक खाद पर निर्भरता कम होगी और लागत में कमी आएगी।
  • पर्यावरण संतुलन के साथ फसल उत्पादन बढ़ेगा।
  • जैविक उत्पादों की मांग बढ़ने से किसानों की आय में वृद्धी होगी |

एग्रीबाज़ार अपने फसल डॉक्टर सर्विस द्वारा किसानों को स्वस्थ एवं बेहतर फसल की पैदावार बढ़ाने में सहायता प्रदान करता है और समय रहते किसानों की फसलों को कीट-रोगों से बचाता है। किसान अपनी फसल की तस्वीर वॉट्स्ऐप पर भेजकर तुरंत कीट-रोग की पहचान कर सकते हैं और वो भी बिल्कुल मुफ्त एवं उचित समय पर! किसानों का ये बस एक क्लिक पर संक्रमित फसलों का निदान करता है और किसी भी कीट, बीमारी या पोषक तत्वों की कमी के लिए तुरंत उपचार सुझाव देता है। इतना ही नहीं बल्कि एग्रीबाज़ार इनपुट मार्केटप्लेस पर किसानों के लिए सर्वोत्तम क्वालिटी के खाद, बीज, कीटनाशनक एवं कृषि अदानें भी किफायती दामों पर उपलब्ध है।

More Articles for You

How is the digital agriculture marketplace in India enabling real-time price discovery & direct farmer-buyer linkages?

In recent years, the concept of a digital agriculture marketplace in India has gained considerable momentum, offering farmers and buyers …

मृदा नमी नवाचार: मिट्टी की उर्वरता बढ़ाएं, खेतों में हरियाली लाएं!

भारत की कृषि अर्थव्यवस्था किसानों के दृढ़ संकल्प और मिट्टी की उर्वरता पर आधारित है। हमारे किसान निरंतर अपनी सूझबूझ …

Agritech India: Robotics, vertical farming & controlled environment agriculture!

India’s agriculture sector is on the brink of a major transformation, powered by technology, innovation, and data. The rise of …

WhatsApp Connect With Us